दीपिका पादुकोण की फिल्म छपाक' (Chhapaak Movie) लोगों को काफी पंसद आई थी। यह फिल्म रियल स्टोरी पर बेस्ड थी। यही वजह थी की यह फिल्म दर्शकों को काफी पंसद आई थी। आइए ऐसे ही पांच डायलॉग जानते हैं, जो आपका दिल झकझोर देंगे
नाक नहीं है कान नहीं हैं झुमके कहां लटकाउंगी
यह डायलॉग एसिड अटैक होने के बाद दीपिका पादुकोन ने कहा था जो सुनकर किसी के भी रोंगटे खड़े हो जाएगें। एसिड अटैक के बाद उसका चेहरा पूरी तरह बिगड़ चुका है. उसके नाक-कान गल चुके हैं. ऐसे में वो झुमका पहनना चाहे भी तो कैसे पहने। वह बाकी लड़कियों की तरह जिंदगी जीना चाहती हैं। लेकिन ऐसा हो नहीं पाता हैं।
अटैक उन्हीं लड़कियों पर हुआ जो या तो पढ़ना चाहती थी या बढ़ना चाहती थी
यह डायलॉग एसिड अटैक होने के बाद दीपिका पादुकोन ने कहा था अटैक उन्हीं लड़कियों पर हुआ जो या तो पढ़ना चाहती थी या बढ़ना चाहती थी।एसिड अटैक के बाद उनका पढ़ाई से लेकर सब कुछ छूट गया था।
उन्होंने मेरी सूरत बदली है, मेरा मन नहीं
यह डायलॉग एसिड अटैक होने के बाद दीपिका पादुकोन ने कहा था उन्होंने मेरी सूरत बदली है, मेरा मन नहीं। इसके बाद से ही उन्होने अपना मन बना लिया था कि वह चुर नहीं बैठेगी वह अपने लिए आवाज उठाएगी।
कितना अच्छा होता अगर ऐसिड बिकता ही नहीं, मिलता ही नहीं तो फिंकता भी नहीं
यह डायलॉग एसिड अटैक होने के बाद दीपिका पादुकोन ने कहा था कितना अच्छा होता अगर ऐसिड बिकता ही नहीं, मिलता ही नहीं तो फिंकता भी नहीं। वह काफी डर गई थी। इसी दौरान उन्होने इस बात को कहा था। मालती अपने मित्र अमोल से ये बात कहती है कि ऐसिड को बिकना ही नहीं चाहिए। उन्होने इस बात के लेकर अपनी बात कोर्ट तक रखी थी।
सेशन कोर्ट के बाद हाईकोर्ट, उसके बाद सुप्रीम कोर्ट. बहुत साल चलने वाला है ये केस. शोर की आदत डाल लो
यह डायलॉग एसिड अटैक होने के बाद दीपिका पादुकोन ने कहा था सेशन कोर्ट के बाद हाईकोर्ट, उसके बाद सुप्रीम कोर्ट. बहुत साल चलने वाला है ये केस. शोर की आदत डाल लो तारीख पर तारीख मिलती रही है, लेकिन इंसाफ नहीं मिला। इसी समय दीपीका पादुकोन ने इस डायलॉग को कहा था।
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